kahaniyan : गुस्से पर नियंत्रण

गुस्से पर नियंत्रण:-

एक समय की बात है एक बूढ़ा व्यक्ति अपने पोते को जीवन के बारे में समझा रहा था। जब वह यह सब उसे बता रहा था तो उस लड़के ने कहा कि मुझे काफी गुस्सा आता है मैं इस पर नियंत्रित कैसे करूं। उसने जवाब दिया और कहा तुम एक घड़ा और बहुत सारी किले ले आओ। उसने कहा जब भी तुम्हें गुस्सा आए तुम इस मटके में एक किल डाल देना। धीरे-धीरे जब भी उस लड़के को गुस्सा आता वह उस मटके में किल डाल देता। कुछ दिनों में घड़ा आधा भर चुका था। कुछ दिनों बाद उस बच्चें ने अपने गुस्से पर नियंत्रण सीख लिया धीरे-धीरे वह उस घड़े में किल को नहीं डालता था। तब उस बूढ़े व्यक्ति ने कहा अब जिस दिन तुम्हें गुस्सा नहीं आए तब उस घड़े से किल को निकाल लेना। धीरे-धीरे वह घड़ा खाली हो गया और उसमें एक भी किल नहीं बची। 

सीख:-

गुस्सा आना स्वाभाविक है परंतु उस पर नियंत्रण रखना चाहिए।
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